Psychology
अंतर्दर्शन विधि
आत्मनिष्ठ या व्यक्तिनिष्ठ -
1. आत्मकथा या अर्न्तदर्शन विधि:-
वस्तुनिष्ठ विधियां:-
निरीक्षण विधि या बहिदर्शन विधि:-
1. आत्मकथा या अर्न्तदर्शन विधि:-
- विलियम वुण्ट व शिष्य टिचनर इसके प्रवर्तक है।
- यह एक प्राचीनतम विधि है।
- यह एक मनोवैज्ञानिक विधि नहीं है इसके कारण इनका वर्तमान समय में उपयोग नही किया जाता हैं।
- टाइडमैन इसके प्रवर्तक है।
- निदानात्मक अध्ययनों की सर्वश्रेष्ठ विधि हैं।
- असामान्य बालकों के निदान की सर्वश्रेष्ठ विधि हैं।
- समस्या के कारण को जानना निदान कहलाता हैं।
- जो मनोविज्ञान की सहायता से किया जाता है तथा कारण को द ूर करना उपचार कहलता है जो शिक्षा की सहायता से किया जाता है।
- बिना निदान के उपचार सम्भव नही हैं।
- वुडवर्थ द्वारा
- प्रश्नावली में आमने-सामने होना जरूरी नही होता और उत्तर के रूप में विकल्प होते हैं।
- साक्षात्कार विधि का प्रारम्भ अमेरिका में हुआ।
- साक्षात्कार में आमने-सामने होना जरूरी नहीं होता है।
- इसमें प्रश्नों का कोई बंधन नही होता है व ना ही समय पर।
- साक्षात्कार वार्तालाप का एक रूप माना जाता है।
वस्तुनिष्ठ विधियां:-
निरीक्षण विधि या बहिदर्शन विधि:-
- वाटसन इसके प्रवर्तक हैं।
- इस विधि में सामने वाले व्यक्ति के व्यवहार का भिन्न-भिन्न परिस्थितियों का अध्ययन किया जाता है और निष्कर्ष निकाला जाता है कि विषयी का व्यक्तित्व कैसा हैं।
- प्रवर्तक - जे.एल. मोरेना
- इस विधि में व्यक्ति की सामाजिकता के बारे में समाज के व्यक्तियों से जानकारी लेकर निष्कर्ष निकाला जाता हैं कि विषयी का व्यक्तित्व कैसा हैं।
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