रणजीत सिंह किस मिसल के थे?
रणजीत सिंह की मृत्यु के बाद उत्तराधिकार के संघर्ष में किसने सत्ता हड़प ली?
(1) ध्यान सिंह
(2) नौनिहाल सिंह
(3) शेर सिंह
(4) खड़ग सिंह
उत्तर (1) जून 1839 ई. में रणजीत सिंह को मृत्यु के पश्चात् सिंहासन पर उसका पुत्र खड़ग सिंह बैठा, लेकिन वास्तविक सत्ता वजीर ध्यान सिंह के हाथ में पहुँच गई। उसने खड़ग सिंह का वध करवाकर नौनिहाल सिंह को सिंहासन पर बैठा दिया। नौनिहाल सिंह के पश्चात् शेरसिंह और अंत में दिलीप सिंह शासक बने। दिलीप सिंह को पराजित कर इलहौजी ने सिख राज्य को अंग्रेजी राज्य में मिला लिया।
रणजीत सिंह किस मिसल के थे?
(1) कन्हैया
(2) सुकरचकिया
(3) अहलुवालिया
(4) भंगी
उत्तर (2) रणजीत सिंह सुकरचकिया मिसल के प्रमुख महा सिंह के पुत्र थे। 1792 ई. में अपने पिता महा सिंह की मृत्यु के बाद 12 वर्ष की आयु में वे सुकरचकिया मिसल के प्रमुख बने। 1799 ई. में रणजीत सिंह ने लाहौर पर अधिकार कर लिया। अफगानिस्तान के शासक जमान शाह ने उन्हें 'राजा' की उपाधि दी थी। इसके साथ ही लाहौर का सूबेदार स्वीकार कर लिया। 1805 ई. में रणजीत सिंह ने अमृतसर को मांगी मिसल से छीन लिया। इस तरह पंजाब की राजनीतिक राजधानी लाहौर तथा धार्मिक राजधानी अमृतसर दोनों उनके अधीन हो गई थी।
हुजूर साहब का गुरुद्वारा किसकी याद में बना था?
(a) गुरु गोविन्द सिंह
(b) गुरु नानक
(c) गुरु रामदास
(d) गुरु तेगबहादुर
उत्तर (a) हुजूर साहब का गुरुद्वारा (नांदेड) का निर्माण गुरु गोविन्द सिंह की स्मृति में करवाया गया। औरंगजेब के पुत्रों के उत्तराधिकार के युद्ध में गुरु गोविन्द सिंह ने बहादुरशाह का साथ दिया। नांदेड नामक स्थान पर गोदावरी नदी के तट पर एक पठान अजीम खान द्वारा छुरा गाने से गुरु गोविन्द सिंह की मृत्यु हो गयी थी।
निम्नलिखित का सही कालानुक्रम क्या है?
नीचे दिए कूट से सही उत्तर का चयन कीजिए
(1) अमृतसर की सन्धि
(2) चतुर्थ मैसूर युद्ध
(3) लाहौर की सन्धि
(4) ईस्ट इण्डिया कंपनी की मेवाड़ से सन्धि
कूटः
(a) 1-2-3-4
(b) 3-1-2-4
(c) 2-1-4-3
(d) 2-1-3-4
उत्तर (c) अमृतसर को सन्धि 25 अप्रैल, 1809 ई. को अंग्रेजों और महाराणा रणजीत सिंह के मध्य हुई थी। चतुर्थ आग्ल मैसूर युद्ध 1799 ई. में अंग्रेज सेनापति वेलेजली तथा टीपू सुल्तान के मध्य हुआ। 9 मार्च, 1846 ई. को सिखों और अंग्रेजों के बीच लाहौर की सन्धि हुई। ईस्ट इण्डिया कंपनी को मेवाड़ से सन्धि 13 जनवरी, 1818 ई. को हुई।
किस सिख ने विद्रोही राजकुमार खुसरो की सहायता धन और आशीर्वाद से की थी?
(a) हर गोविन्द
(b) गुरु गोविन्द सिंह
(c) गुरु अर्जुनदेव
(d) गुरु तेगबहादुर
उत्तर (c) सिखों के पाँचवें गुरु अर्जुनदेव ने जहाँगीर के विद्रोही पुत्र खुसरो को आशीर्वाद और धन देकर सहायता की थी। इससे क्रोधित होकर जहाँगीर ने 1606 ई. में इन्हें मृत्युदण्ड दे दिया। गुरु अर्जुन देव को 'सच्चा पादशाह' भी कहा जाता है। इन्होंने रामदासपुर में अमृतसर एवं संतोखसर नामक तालाब का निर्माण करवाया था। उन्होंने तरनतारन तथा करतारपुर नामक नगर का निर्माण करवाया था। 1604 ई. में इन्होंने आदि ग्रंथ रचना
'तरनतारन' नामक नगर की स्थापना करने वाले सिख गुरु कौन थे?
(a) गुरु रामदास
(b) गुरु अर्जुनदेव
(c) गुरु गोविन्द सिंह
(d) गुरु तेगबहादुर
उत्तर (b)
'तरनतारन' नामक नगर की स्थापना करने वाले सिख गुरु अर्जुनदेव (1581-1606 ई.) थे। इसके अतिरिक्त इन्होंने 'करतारपुर' नामक नगर भी बसाया था। इनको सच्चा पादशाह भी कहा जाता था। इन्होंने रामदासपुर में अमृतसर तथा संतोषसर नामक तालाब का निर्माण करवाया तथा 1604 ई. में 'आदि ग्रंथ' की रचना की।
अ. कश्मीर से ब. गंगाघाटी से
स. विन्ध्य क्षेत्र से द. दक्षिण भारत से
उत्तर— अ
व्याख्या— उत्तरी क्षेत्र में स्थित कश्मीर के दो महत्वपूर्ण नवपाषाणिक स्थल-बुर्जहोम एवं गुफ्कराल हैं। यहां से नवपाषाण युगीन अनेक पत्थर एवं हड्डियों से निर्मित औजार प्राप्त हुए हैं। यहीं से फसल काटने का आयताकार पाषाण उपकरण (हार्वेस्टर) भी प्राप्त हुआ है।
निम्न में से किस एक पुरास्थल से नवपाषाण संस्कृति से लेकर हड़प्पा सभ्यता तक के सांस्कृतिक अवशेष प्राप्त हुए हैं?
अ. आम्री ब. मेहरगढ़
स. कोटदीजी द. कालीबंगा
उत्तर— ब
शवाधान में मानव के अवशेषों के साथ कुत्ते, बकरे जैसे पालतू पशुओं को दफनाने के साक्ष्य मिले हैं:
अ. बुर्जहोम में ब. गुफ्कराल में
स. मेहरगढ़ में द. चिरांद में
उत्तर— अ
अ. नवपाषाण युग में
ब. मध्यपाषाण युग में
स. पुरापाषाण युग में
द. उपर्युक्त में से कोई नहीं
उत्तर- अ
व्याख्या— खाद्यान्नों का उत्पादन सर्वप्रथम नवपाषाण काल में हुआ। यही वह समय है जब मनुष्य कृषि कर्म से परिचित हुआ। नवपाषाण काल में ही जी एवं गेहूं की वन्य किस्म को खेती के योग्य बनाया गया जिसमें कृषिजन्य गेहूं का उद्भव हुआ। भारतीय उपमहाद्वीप में कोलडिहवा तथा मेहरगढ़ दो नवपाषाणिक ग्राम बस्तियां थी जहां से चावल एवं गेहूं के स्पष्ट प्रमाण मिले हैं।
अ. मंदिरों के लिए
ब. मूर्तियों के लिए
स. बौद्ध एवं जैन गुफाओं के लिए
द. शैल चित्रों के लिए
उत्तर- द
भीमबेटका का चट्टानी शरणस्थल भोपाल से 45 किमी. पश्चिम में स्थित है। यूनेस्को ने भीमबेटका शैल चित्रों को विश्व विरासत सूची में सम्मिलित किया है। इन गुफाओं में जीवन के विविध रंगों को पेंटिंग के रूप में उकेरा शरणस्थलियों की पहचान की जा चुकी है, इनमें 243 भीमबेटका समूह में तथा 178 लाखा जुआर समूह में स्थित हैं।
अ. अजंता
ब. बाघ
स. भीमबेटका
द. अमरावती
PG.T. (Re) परीक्षा, 2013
उत्तर- स
प्रागैतिहासिक चित्रकला का श्रेष्ठ उदाहरण म.प्र. के रायसेन जिला स्थित ‘भीमबेटका' के शैलाश्रय तथा गुफाएं हैं। भीमबेटका की प्रागैतिहासिक
चित्रकला को मध्यपाषाण काल से संबंधित किया जाता है।
अन्य महत्वपूर्ण तथ्य ।
- अजंता तथा बाघ की शैलकृत गुफा चित्रकला ऐतिहासिक कालीन (मौर्य काल के बाद की) है।
- अमरावती अपने स्तूप स्थापत्य के लिए प्रसिद्ध है जिसे शुंग कालीन या सातवाहन कालीन माना जाता है।
निम्नलिखित स्थलों में से कौन-सा प्रागैतिहासिक शैल चित्रकला के लिए प्रसिद्ध है?
अ. बाघ
ब. अजन्ता
स. भीमबेटका
द. अमरावती
उत्तर— स
अ. अजन्ता की गुफाओं में
ब. बाघ की गुफाओं में
स. एलोरा की गुफाओं में
द. भीमबेटका के शैलाश्रयों में
उत्तर- द
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